भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) दुनिया में एक बार फिर अपनी तकनीक का लोहा मनवाया है। इसरो ने दोपहर 3 बजकर 2 मिनट पर PSLV-C49 के जरिए 10 उपग्रहों (Satellites) को लॉन्च किया। इसमें से 9 अंतरराष्ट्रीय उपग्रह हैं, जबकि एक भारत का अर्थ ऑब्जर्वेशन सैटेलाइट (EOS-01) है। प्रक्षेपण की उलटी गिनती शुक्रवार को शुरू हो गई थी। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने बताया कि सभी नौ ग्राहक उपग्रह (customer satellites) सफलतापूर्वक अपनी कक्षा (intended orbit) में अलग हो गए और इंजेक्ट किए गए हैं। पीएम मोदी ने आज PSLV-C49 मिशन के सफल प्रक्षेपण के लिए इसरो और भारत के अंतरिक्ष उद्योग को बधाई दी। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के के समय में हमारे वैज्ञानिकों ने समय सीमा को पूरा करने के लिए कई बाधाओं को पार किया है।बता दें कि जिन 10 उपग्रहों की आज लॉन्चिंग हुई है उनमें से भारत का एक, लिथुआनिया का एक, लक्समबर्ग के चार और अमेरिका के चार सैटेलाइट हैं। दोपहर 3 बजकर 2 मिनट पर इन सभी सैटेलाइट्स को श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर से लॉन्च किया गया। कोरोना वायरस महामारी के बीच भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन का यह इस साल का पहला अंतरिक्ष मिशन है।बता दें कि ‘अर्थ ऑब्जर्वेशन सैटेलाइट’ ‘अर्थ ऑब्जरवेशन रिसेट सैटेलाइट’ का ही एक एडवांस्ड सीरीज है। इसके जरिए बादलों के बीच से भी पृथ्वी की साफ तस्वीर खींची जा सकती है। यह सैटेलाइट दिन के अलावा रात में भी तस्वीरें खींचने में सक्षम है। इसमें सिंथेटिक अपर्चर रडार लगा हुआ है, जिससे किसी भी मौसम में पृथ्वी पर नजर रखी जा सकती है।
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