हिंदी पंचांग के अनुसार, 14 अप्रैल को सूर्य मीन राशि से निकलकर मेष राशि में प्रवेश करेंगे। इसके लिए 14 अप्रैल को मेष संक्रांति है। सूर्य के मेष राशि में प्रवेश करने के साथ ही खरमास समाप्त हो जाएगा। इस दिन कृषि पर्व बैसाखी भी है। इस मौके पर गुरुद्वारों को भव्य तरीके से सजाया जाता है। साथ ही भजन-कीर्तन का आयोजन किया जाता है। कुल मिलाकर कहें तो बैसाखी पर उत्सव जैसा माहौल रहता है। वहीं, मेष संक्रांति पर स्नान-दान का विधान है। इसके लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु…
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चकला-बेलन खरीदते समय इन बातों का रखें ध्यान
सनातन धर्म में वास्तु शास्त्र का विशेष महत्व है। गृह निर्माण से लेकर प्रवेश तक वास्तु नियमों का पालन किया जाता है। गृह प्रवेश के बाद डेकोरेशन के समय भी वास्तु नियमों का पालन करना जरूरी है। इसके अलावा, घर में रखी हर एक चीज के लिए वास्तु नियम अनिवार्य है। इन नियमों का पालन करने से घर में सुख और समृद्धि बनी रहती है। वहीं, लापरवाही बरतने से जीवन में मुश्किलें आ सकती हैं। साथ ही धन का भी नुकसान होता है। अगर आप चकला बेलन खरीदने की सोच…
Read Moreये लड़के अपनी पत्नियों के लिए होते हैं भाग्यशाली
आचार्य चाणक्य ने अपनी रचना ‘नीति शास्त्र’ में मनुष्य जीवन के बारे विस्तार से बताया है। इसमें व्यक्ति के भूत, वर्तमान और भविष्य की विवेचना की गई है। साथ ही पति-पत्नी के रिश्ते की भी जानकारी दी गई है। इस शास्त्र से यह पता भी चल जाता है कि लड़कों के किन गुणों को लड़कियां अधिक पसंद करती हैं। जिन लड़कों में ये 5 गुण होते हैं। वे अपनी पत्नियों के लिए बेहद भाग्यशाली होते हैं। ऐसे लड़कों से शादी होने पर लड़कियों की किस्मत बदल जाती है। आइए, इन…
Read Moreवैशाख मास में इन बातों का जरूर रखें ध्यान,
हिन्दू पंचांग के अनुसार, चैत्र पूर्णिमा तिथि का समापन हो 06 अप्रैल को सुबह 10 बजकर 04 मिनट पर हो गया है और इसी समय से वैशाख कृष्ण प्रतिपदा की शुरुआत हो चुकी है। स्कंद पुराण वैशाख मास को माधव मास के नाम से भी जाना जाता है। ऐसा इसलिए क्योंकि इस मास में जप, तप, स्नान और दान से साधकों को सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है। वैशाख में भगवान विष्णु की उपासना का विशेष महत्व है। साथ ही इस पवित्र महीने में कुछ नियमों का पालन करने से व्यक्ति…
Read Moreकब से शुरू हो रहा है वैशाख माह? जानिए इस माह के व्रत और त्योहार और इसका धार्मिक महत्व
हिंदू पंचांग के अनुसार चैत्र पूर्णिमा के बाद वैशाख का महीना शुरू होता है। इस माह का विशेष धार्मिक महत्व है। इस साल वैशाख 7 अप्रैल 2023 से आरम्भ हो रहा है। वैशाख में दान और गंगा स्नान करने से शुभ फल की प्राप्ति होती है। माना जाता है कि भगवान विष्णु, परशुराम की पूजा करने और बांके बिहारी के दर्शन करने से शांति और सभी दुखों से मुक्ति मिलती है। हिंदू कैलेंडर के अनुसार, चैत्र पूर्णिमा के बाद का दिन वैशाख का पहला दिन होता है और वैशाख पूर्णिमा…
Read Moreनवरात्रि के नौवें दिन ऐसे करें मां सिद्धिदात्री की पूजा
चैत्र नवरात्रि के अंतिम दिन मां सिद्धिदात्री की पूजा-उपासना की जाती है। धार्मिक मान्यता है कि मां सिद्धिदात्री की भक्ति-उपासना करने से साधक की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। इसके लिए साधक श्रद्धा और भक्ति भाव से मां सिद्धिदात्री की पूजा करते हैं। साथ ही माता के निमित्त व्रत उपवास भी करते हैं। इस दिन पूजा संपन्न होने के पश्चात कन्या पूजन का भी विधान है। आइए, मां सिद्धिदात्री की पूजा विधि और महत्व जानते हैं मां का स्वरूप मां सिद्धिदात्री चार भुजा धारी हैं। एक हाथ में कमल पुष्प,…
Read Moreरामनवमी पर हुआ दुर्लभ योग का निर्माण
हर साल चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि पर रामनवमी का पर्व धूमधाम से मनाया जाता है। इस साल रामनवमी 30 मार्च को है। मान्यता है कि धर्म की पुनर्स्थापना के लिए भगवान विष्णु ने प्रभु श्री राम के रूप में अपना सातवां अवतार लिया था। इसी उपलक्ष्य में हर साल धूम-धाम से राम नवमी का पर्व मनाया जाता है। राम नवमी के अवसर पर देशभर के समस्त राम मंदिरों में प्रभु श्रीराम की पूजा अर्चना की जाती है। हिंदू धर्म में राम नवमी के पर्व का विशेष…
Read Moreचैत्र नवरात्रि में कब करें कन्या पूजन, जानिए तिथि, शुभ मुहूर्त
चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा के 9 स्वरूपों की विशेष आराधना की जाती है। नवरात्रि की महाष्टमी और महानवमी तिथि के दिन हवन और कन्या पूजन के बाद व्रत का पारण किया जाता है। अष्टमी तिथि पर महागौरी का पूजन किया जाता है और नवमी पर मां सिद्धिदात्री का। नवरात्रि में अष्टमी तिथि 29 मार्च को पड़ रही है। अष्टमी तिथि 28 मार्च को सायं 07: 02 मिनट से शुरू होगी और 29 मार्च को रात्रि 09:07 मिनट पर समाप्त हो जाएगी और इसके बाद नवमी तिथि आरंभ हो जाएगी।…
Read Moreगुड़ी पड़वा आज, जानें पूजा मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि
आज से हिंदू नववर्ष की शुरुआत हो रही है। इसे महाराष्ट्र में गुड़ी पड़वा के रूप में धूमधाम के साथ मनाया जाता है। गुड़ी पड़वा को संवत्सर पड़वो के नाम से भी जाना जाता है, यह मुख्य रूप से भारतीय राज्य महाराष्ट्र में मनाया जाने वाला वसंत ऋतु का त्योहार है। यह हिंदू नव वर्ष की शुरुआत का प्रतीक है और चैत्र महीने के पहले दिन पड़ता है, जो आमतौर पर मार्च के अंत या अप्रैल की शुरुआत में पड़ता है। उत्सव की खुशियों के साथ-साथ, गुड़ी पड़वा को संपत्ति या…
Read Moreभाग्य को चमकाने के लिए इस जगह लगाएं तुलसी का पौधा
हिंदू धर्म में तुलसी के पौधे का विशेष महत्व है। मान्यताओं के अनुसार, तुलसी भगवान विष्णु को अति प्रिय है और मां लक्ष्मी भी इसमें वास करती हैं। इसके साथ ही तुलसी का पौधा वास्तु शास्त्र के हिसाब से भी काफी खास माना जाता है। माना जाता है कि जिस घर में तुलसी का पौधा हरा-भरा है, तो वहां पर कभी भी सुख-समृद्धि की कमी नहीं होता है। घर में खुशियां ही खुशियां आती हैं, लेकिन अगर तुलसी संबंधी कुछ वास्तु नियमों को नहीं माना, तो व्यक्ति के घर में…
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